टीम इंडिया के तेज गेंदबाज खलील अहमद को आज क्रिकेट के अधिकतर प्रशंसक भली-भांति जानते हैं। हालांकि वह इस समय नियमित रूप से भारतीय टीम का हिस्सा नहीं है।परंतु 25 वर्षीय खलील अहमद ने साल 2018 में भारत की तरफ से इंटरनेशनल क्रिकेट में डेब्यू किया था। जिसके बाद से उन्होंने भारत के लिए वनडे और टी20 में कुल 25 मुकाबले खेले हैं।अबकी बार IPL में वह दिल्ली कैपिटल्स के साथ खेलते हुए नजर आएंगे।इस वर्ष के मिनी ऑक्शन में दिल्ली कैपिटल्स ने 5.25 करोड़ की बोली लगाकर खलील अहमद को अपने स्कॉवड का हिस्सा बनाया है।
खलील ने सुनाया दिलचस्प किस्सा
खलील अहमद ने अभी हाल ही में पूर्व क्रिकेटर आकाश चोपड़ा से बातचीत में अपने बचपन से जुड़े संघर्षों का दिलचस्प किस्सा सुनाया है। उनका कहना है कि उनके पिता नहीं चाहते थे कि वह क्रिकेट खेलें, इस वजह से उन्हें बेल्ट से मार खानी पड़ती थी।
खलील बताते हैं कि, “मेरी तीन बहने हैं और मेरे पिता पेशे से एक कंपाउंडर थे। हमारे पिता नौकरी करने चले जाते थे और घर में सामान लाने की सारी जिम्मेदारी मेरे ऊपर होती थी। जैसे किराने का सामान, दूध सब्जी, वगैरह आदि। परंतु मैं क्रिकेट खेलने में इतना बिजी रहता था यह सभी कार्य अधूरे रह जाते थे। पिता के घर वापसी के बाद मेरी मां उनसे मेरी शिकायत करती थी। और मुझसे पूछा जाता था कि मैं दिन भर कहां था? फिर बेल्ट से पिटाई हो जाया करती थी।”
खलील ने आगे बताया कि, “मेरा मन पढ़ाई लिखाई में नहीं लगता था। वह मुझे पढ़ने के लिए प्रेरित करते थे और बात न मानने पर बेल्ट से पीटते थे। जिससे मेरे शरीर पर चोट के निशान पड़ जाते थे। फिर मेरी बहनें उसका इलाज किया करती थी।”